सतनाम आदेश गुरु जी को आदेश आदेश !
शिव गोरक्षधाम सतनाली सनी शर्मा !
गुरु
गुरु शिव का ही रूप है गुरु आपकी सांसो मैं गुरु आपके भीतर है गुरु ही आपका सब कुछ है आपके माता पिता बी आपके गुरु है जैसे संस्कार वो आपको जनम से देते है वैसे ही आपको सिर्ष्टी का तत्व ज्ञान और रिश्तो नाटो की समझ आती है ! समझ क्या है समझ आपकी बूढी मत है गुरु का दिया गया ज्ञान ही आपको समझ ही के आप किसी बात को कैसे समझते हो और आपकी समझ ही आपको आगे के रस्ते पर ले जाती है ! समझ और ज्ञान गुरु कृपा से ही मिलता है गुरु आपके जैसे मर्जी हो हो लेकिन गुरु की बाणी मैं शिव जी की बाणी होती है अलख आदेश सनी शर्मा शिव गोरक्षधाम सतनाली !
गुरु माता पिता कबि अंतर नहीं है श्रद्धा भाव से ही आपको सब कुछ मिलता है इसलिए गुरु के प्रति भाव सही होना जरुई है गुरु तो एक पत्थर बी हो सकता है बात अति है आपकी नज़र की आप उस पत्थर मैं परमात्मा को देख प् रहे हो जा नहीं जय जय गुरु गोरखनाथ अगर कुछ बुरा लगा तो माफ करना आपका सनी !
शिव गोरक्षधाम सतनाली सनी शर्मा !
गुरु
गुरु शिव का ही रूप है गुरु आपकी सांसो मैं गुरु आपके भीतर है गुरु ही आपका सब कुछ है आपके माता पिता बी आपके गुरु है जैसे संस्कार वो आपको जनम से देते है वैसे ही आपको सिर्ष्टी का तत्व ज्ञान और रिश्तो नाटो की समझ आती है ! समझ क्या है समझ आपकी बूढी मत है गुरु का दिया गया ज्ञान ही आपको समझ ही के आप किसी बात को कैसे समझते हो और आपकी समझ ही आपको आगे के रस्ते पर ले जाती है ! समझ और ज्ञान गुरु कृपा से ही मिलता है गुरु आपके जैसे मर्जी हो हो लेकिन गुरु की बाणी मैं शिव जी की बाणी होती है अलख आदेश सनी शर्मा शिव गोरक्षधाम सतनाली !
गुरु माता पिता कबि अंतर नहीं है श्रद्धा भाव से ही आपको सब कुछ मिलता है इसलिए गुरु के प्रति भाव सही होना जरुई है गुरु तो एक पत्थर बी हो सकता है बात अति है आपकी नज़र की आप उस पत्थर मैं परमात्मा को देख प् रहे हो जा नहीं जय जय गुरु गोरखनाथ अगर कुछ बुरा लगा तो माफ करना आपका सनी !
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